चमोली जिले में देर रात तक बारिश और बर्फबारी होने से समूचे जिले में कड़ाके की ठंड पड़ रही है। बदरीनाथ धाम और औली में आधा फीट तो हेमकुंड साहिब में एक फीट तक ताजी बर्फ जम गई है। ऊंचाई वाले क्षेत्रों में दूसरे दिन भी बर्फ गिरी।जिले में 50 से अधिक गांव बर्फ से ढक गए हैं, जिससे ग्रामीणों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। चमोली-मंडल-ऊखीमठ-कुंड हाईवे और ज्योतिर्मठ-मलारी हाईवे पर आवाजाही बंद हो गई है। वहीं, हाईवे पर वाहन फिसल रहे हैं। मंगलवार को सुबह धूप खिलने से लोगों को ठंड से राहत मिली, लेकिन दोपहर बाद फिर मौसम खराब हो गया।दूसरे दिन भी ऊंचाई वाले क्षेत्रों में हल्की बर्फबारी हुई। जिले के पाणा, ईराणी, झींझी, रामणी, घूनी, कनोल, सुतोल, आला, जोखना, गुलाड़ी, गैरी, सीक, सुंग, ल्वाणी सहित 50 से अधिक गांव बर्फ से ढक गए हैं। खेत-खलियान और आम रास्तों पर बर्फ जमने से महिलाओं को मवेशियों के लिए चारे की व्यवस्था करना कठिन हो गया है। मलारी हाईवे भापकुंड से आगे और चमोली-ऊखीमठ हाईवे कांचुलाखर्क से आगे बर्फबारी होने से बंद हो गया, जिससे पर्यटक पर्यटन क्षेत्र चोपता नहीं पहुंच पा रहे हैं। बदरीनाथ हाईवे पर हनुमान चट्टी से आगे और ज्योतिर्मठ-औली मार्ग पर सुनील टावर से आगे बर्फ में वाहन फिसल रहे हैं।देर रात बर्फबारी हुई। क्रिसमस को लेकर बड़ी संख्या में मंगलवार को पर्यटक औली पहुंचे। यहां पर्यटकों ने बर्फ का जमकर लुत्फ उठाया। सुनील टावर के समीप सड़क पर बर्फ जमी होने से दिनभर जाम की स्थिति बनी रही। यहां सड़क पर फिसलन हो गई है।बर्फबारी से मुख्य पर्यटन स्थल रूपकुंड, वेदनी बुग्याल, आली बुग्याल, बगजी बुग्याल, ब्रह्मताल बर्फ से ढक गए हैं। बुग्यालों में बर्फबारी से लोहाजंग की रौनक बढ़ गई है। कई ट्रेकिंग कंपनियों के माध्यम से देर शाम तक 200 से अधिक ट्रेकर लोहाजंग पहुंचे।

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